जानिए वो 10 गन्दगी कौन सी है, जिसके लगने के बाद उसे बिना धोएं नमाज़ नहीं होती.. (नजासतो का बयान)





"नजासत 2 किस्म की होती है | एक वह जिसका हुक्म सख्त है उसको ग़लीज़ा कहते है |  दूसरी वह जिसका हुक्म हल्का है उसे ख़फ़ीफ़ा कहते है "




NAJASATE GALIJA (नजासते ग़लीज़ा) :


➤पेशाब,पाखाना,खून,मेवाद,उल्टी,मनी,मज़ी,वदी,दुखती आंख का पानी इसके अलावा हर हराम जानवर जैसे की कुत्ता, बिल्ली, चूहा, गधा, खच्चर, हाथी, सुअर, शेर, लोमड़ी का पेशाब,पाखाना और घोड़े की लीद व हलाल जानवर जैसे की गाय व भैंस का गोबर बकरी व ऊंट की मेंगनी व जो परिन्दे ज़्यादा ऊंचे नहीं उड़ते जैसे कि मुर्गी व बतख की बीट,छिपकली व गिरगिट का खून,हाथी की सूंड़ की रतूबत,कुत्ते की राल व हराम चौपायो का लोआब,नजासते ग़लीज़ा हैं | 

➤अगर 1 दिरहम से ज़्यादा हो तो धोना फ़र्ज़ है, बिन धोये नमाज़ होगी ही नहीं, अगर 1 दिरहम के बराबर हो तो धोना वाजिब बिन धोये नमाज़ पढ़ना गुनाह, नमाज़ वाजिबुल इयादा, हां अगर इससे कम हो तो बिन धोये भी नमाज़ हो जायेगी मगर बेहतर नहीं | 



NAJASATE KHAFIFA (नजासते ख़फ़ीफ़ा) :


➤जिन जानवरों का गोश्त खाना हलाल है उनका और घोड़े का पेशाब नजासते ख़फ़ीफ़ा है और जिन परिंदों का गोश्त हराम है उनकी बीट भी नजासते ख़फ़ीफ़ा ही है| 

➤नजासते ख़फ़ीफ़ा जिस्म या कपड़े पर जहां लगी हो अगर उस कपड़े या बदन की चौथाई से कम है तो धोना सुन्नत है बिन धोये भी नमाज़ हो जायेगी और अगर चौथाई से ज़्यादा है तो धोना वाजिब है | 





NAJASAT KE JARURI MASAIL :


*मसअला* - पानी के सारे जानवरों व मच्छर खटमल का खून व घोड़ा,गधा,गाय,भैंस,बकरी का लोआब पाक है|

*मसअला* - दूध पीते बच्चों का पेशाब भी नजासते ग़लीज़ा है|

*मसअला* - इसी तरह बच्चे ने दूध की उल्टी कर दी तो अगर मुंह भरकर है तो नजासते ग़लीज़ा ही है|

*मसअला* - हर हलाल परिंदे जैसे कबूतर,मैना,मुर्ग़ाबी की बीट पाक है और चमगादड़ की बीट और पेशाब दोनों पाक है |

*मसअला* - रास्ते की कीचड़ पाक है जब तक कि उस का नजिस होना मालूम ना हो बिन धोये नमाज़ हो जायेगी मगर धो लेना बेहतर है |

*मसअला* - पेशाब के निहायत बारीक़ छींटे सुई की नोंक बराबर बदन या कपड़े पर पड़ जाये तो बदन और कपडा पाक रहेगा | 

*मसअला* - हराम जानवरो का दूध नजिस है अलबत्ता घोड़ी का दूध पाक है , मगर खाना जायज़ नहीं | 

*मसअला* - जो खून जख्म से बहा  न हो वो पाक है | 

*मसअला* - अगर नजासते ग़लीज़ा, ख़फ़ीफ़ा में मिल जाये तो कुल ग़लीज़ा है | 


📕 बहारे शरीयत,हिस्सा 2,सफ़ह 96---101